Friday, February 10, 2012

जन गन मन अधिनायक जय हो,, भारत के अब भाग्य विधाता ,,

बटाला हॉउस माँ रोगहा पुलिस ,,बना दिस शमशान 
धर्म निरपेक्छ्ता काला कैथे ,,,सन्न पड़े सविधान ,,

इक दू ठन एक ४७ बर ,,,अतका टोटा फाडिस
देश भक्त लईका मन ला ,,दौड़ा दौड़ा के मारिस ,,

उत्तर प्रदेश चुनाव के बेरा,,सब्बो के सुरता आथे,,
अल्पसंख्यक आंशु पोंछे बर ,,जेन जेन भी जाथे,,

जोन देश के लाज बेच के ,,,ऐसे गद्दी पाता
तेकर जन गन मन अधिनायक जय हो,, भारत के अब भाग्य विधाता ,,

अनुभव

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